सेंट्रल जेल में तैनात छह सरकारी डाक्टर सस्पेंड
अमृतसर (सुरेंद्र कुमार)। सेहत विभाग ने यहां की सेंट्रल जेल में तैनात छह सरकारी डॉक्टरों मेडिकल अफसर डॉ. सुधीर अरोड़ा, डॉ. शिविंदर सिंह, डॉ. किरण कुमार, डॉ. विनोद कपूर, डॉ. हरमीत सिंह व डॉ. विश्वपाल सिंह को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है। आरोप है कि उन्होंने सतपाल नामक युवक का फर्जी ट्रीटमेंट रिकार्ड में दर्ज किया, जबकि यह कैदी नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (एनआइए) की हिरासत में था। इस कैदी का सारा ट्रीटमेंट इन डाक्टरों ने बाकायदा रिकार्ड में संभाल कर रखा। एनआइए के अधिकारियों को इसकी सूचना मिली तो उन्होंने सेहत विभाग को जानकारी दी। सेहत मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू ने जांच करवाई और इन छह डाक्टरों को सस्पेंड कर दिया गया।
सिविल सर्जन डॉ. आरएस सेठी ने इसकी पुष्टि की है। दरअसल, सतपाल सिंह नामक कैदी नशा तस्करी के मामले में पकड़ा गया था। एनआइए ने नशे के नेटवर्क का पता लगाने के लिए उसे रिमांड पर लिया गया था। 10 फरवरी 2020 से 17 फरवरी तक आठ दिन सतपाल सिंह एनआइए की हिरासत में रहा। उससे लगातार पूछताछ की जाती रही। इसी बीच सेंट्रल जेल अमृतसर के उपरोक्त डॉक्टर उसे जेल के अस्पताल में एडमिट दिखाकर फर्जी इलाज करते रहे। वहीं जेल प्रशासन का तर्क है कि यह क्लेरिकल मिस्टेक की वजह से हुआ। सतपाल 2011 से शुगर का मरीज है। एनआइए उसे हिरासत में ले गई और जेल के डॉक्टरों से उसकी मेडिकल हिस्ट्री की रिपोर्ट मांगी। डाक्टरों ने फाइल कंपलीट करनी थी, इसलिए उन्होंने जल्दबाजी में रिपोर्ट पर दवा व उपचार की प्रक्रिया दर्ज कर दी। यह गलती उनसे हुई। जेल प्रशासन ने फर्जी ट्रीटमेंट की बात से इंकार किया है।