एक दिन पहले 93वां जन्म दिन मनाने वाले मोती लाल वोरा का निधन

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एक दिन पहले 93वां जन्म दिन मनाने वाले मोती लाल वोरा का निधन

दो बार एमपी के सीएम और यूपी के गवर्नर रहे, 20 दिसंबर को मनाया था 93वां जन्म दिन

लुधियाना (राजकुमार साथी) मध्य प्रदेश के दो बार मुख्यमंत्री और उत्तर प्रदेश के गवर्नर रहे मोती लाल वोरा नहीं रहे। 20 दिसंबर को उन्होंने अपना 93वां जन्म दिन मनाया था और 21 दिसंबर को उन्होंने दिल्ली के फोर्टिस एस्कॉर्ट अस्पताल में आखिरी सांस ली। वे 17 साल तक एआईसीसी के कोषाध्यक्ष भी रहे हैं। मीडिया रिपोट्र्स के मुताबिक मोतीलाल वोरा के निधन पर पीएम नरेंद्र मोदी, डिफेंस मंत्री राजनाथ सिंह राहुल गांधी समेत दिग्गज सियासी हस्तियों ने शोक प्रकट किया है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने वोरा के निधन पर शोक प्रकट करते हुए कहा कि वोरा जी एक सच्चे कांग्रेसी और अद्भुत इंसान थे। उनके निधन से भारी क्षति हुई है। वह हमें बहुत याद आएंगे। उनके परिवार और दोस्तों के प्रति मेरी संवेदना है। पीएम मोदी ने ट्वीट कर कहा कि श्री मोतीलाल वोरा जी उन वरिष्ठतम कांग्रेसी नेताओं में से थे, जिनके पास दशकों तक राजनीतिक कॅरियर में व्यापक प्रशासनिक और संगठनात्मक अनुभव था। उनके निधन से बहुत दुख हुआ। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट कर कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता श्री मोतीलाल वोरा का निधन काफी दु:खद है। वे लंबे समय तक सार्वजनिक जीवन में रहे और अनेक पदों पर उन्होंने काम किया। जब वे उत्तर प्रदेश के राज्यपाल थे तब मुझे भी उन्हें करीब से जानने और समझने का मौका मिला। वे एक सौम्य एवं अनुभवी राजनेता के रूप में सभी दलों में सम्मान पाते थे। दुख की इस घड़ी में उनके शोकाकुल परिवार और उनके समर्थकों के प्रति मैं अपनी संवेदना व्यक्त करता हूं। कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी ने कहा कि मोतीलाल वोरा जी के निधन से कांग्रेस का हर नेता, हर एक कार्यकर्ता व्यक्तिगत रूप से दुखी है। वोरा जी कांग्रेस की विचारधारा के प्रति निष्ठा, समर्पण और धैर्य के प्रतीक थे। 92 साल की उम्र में भी हर बैठक में उनकी मौजूदगी रही। हर निर्णय पर उन्होंने अपने विचार खुलकर प्रकट किए। आज दु: भरे दिल से उन्हें अलविदा कहते हुए यह महसूस हो रहा है कि परिवार के एक बड़े बुजुर्ग सदस्य चले गए हैं। हम सब उन्हें बहुत याद करेंगे। बाबूजी श्री मोतीलाल वोरा जी का जाना केवल छत्तीसगढ़ बल्कि पूरे कांग्रेस परिवार के लिए एक अभिभावक के चले जाने जैसा है। जमीनी स्तर से राजनीति शुरू करके राष्ट्रीय स्तर पर उन्होंने अपनी एक अलग पहचान बनाई और आजीवन एक समर्पित कांग्रेसी बने रहे। उनकी जगह कभी नहीं भरी जा सकेगी। मैंने अपनी राजनीति का ककहरा जिन लोगों से सीखा उनमें बाबूजी एक थे। अविभाजित मध्य प्रदेश से लेकर छत्तीसगढ़ तक वे हम कांग्रेस कार्यकर्ताओं के लिए एक पथ प्रदर्शक थे। भाजपा नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कहा कि कांग्रेस के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व राज्यसभा सांसद मोतीलाल वोरा जी के निधन पर मेरी गहरी संवेदनाए। साल 1970 में कांग्रेस में शामिल हुए वोरा 13 मार्च 1985 से 13 फरवरी 1988 तक और 25 जनवरी 1989 से 9 दिसंबर 1989 तक दो बार मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे। वोरा साल 1972 में कांग्रेस के टिकट पर विधायक चुने गए। बाद में साल 1977 और 1980 में विधायक के तौर पर जीते। यही नहीं दिग्गज नेता अर्जुन सिंह की कैबिनेट में उन्होंने उच्च शिक्षा विभाग में राज्य मंत्री के तौर पर जिम्मेदारी भी निभाई। यही नहीं साल 1983 में उन्हें कैबिनेट मंत्री भी बनाया गया।

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