एआईडीएमके बोली : तामिलनाडू में भाजपा बने छोटा भाई
चेन्नई। बिहार के साथ ही तामिलनाडू ने भी सत्तारूढ़ दल एआईडीएमके ने भाजपा को आंखें दिखाई हैं। पार्टी डिप्टी कोऑर्डिनेटर केपी मनुसैमी ने तल्ख भाषा में कहा कि भाजपा यहां छोटे भाई की भूमिका में ही रहे। यहां आयोजित रैली के दौरान मनुसैमी ने कहा कि अगर पार्टी चुनाव जीतती है तो भाजपा को सरकार में किसी भी तरह की भागीदारी नहीं दी जाएगी। भाजपा को चीफ मिनिस्टर कैंडिडेट के तौर पर के. पलानीस्वामी को ही स्वीकार करना होगा। अगर भाजपा ये शर्तें स्वीकार करती है तो ठीक है, वरना वह 2021 विधानसभा चुनाव में अपने विकल्पों पर विचार कर ले। मनुसैमी के इस बयान का स्पष्ट मतलब ये निकाला जा रहा है कि तमिलनाडु में भाजपा को एआईडीएमके को ही बड़े भाई के रोल में स्वीकार करना होगा। मनुसैमी ने रैली में कहा कि जे. जयललिता और उनका विरोध करने वाले करुणानिधि के निधन के बाद कई राजनीतिक दल तमिलनाडु में एंट्री और यहां कामयाब होने की कोशिश कर रहे हैं। ये मौकापरस्त और धोखेबाज अब द्रविड़ों पर आरोप लगाते हुए कह रहे हैं कि 50 साल से ज्यादा के शासनकाल में द्रविड़ों ने तमिलनाडु को बदहाल कर दिया। मनुसैमी ने कहा कि तमिलनाडु का सामाजिक और राजनीतिक ताना–बाना द्रविड़ आंदोलन से बुना गया है। यह आंदोलन तमिल संस्कृति, भाषा और वीरता पर आधारित है। ऐसे में तमिलनाडु पूरे देश से अलग है। द्रविड़ आंदोलन ने करीब आधी शताब्दी से ज्यादा समय तक नेशनल पार्टियों की राज्य में एंट्री को रोककर रखा। भाजपा एआईडीएमके के बिना तमिलनाडु में कुछ नहीं कर सकती।
रजनीकांत के ऐलान ने मचाई हलचल
दक्षिण के सुपर स्टार रजनीकांत ने राजनीतिक पार्टी बनाने के साथ ही 2021 में तमिलनाडु विधानसभा चुनाव लडऩे का ऐलान भी किया है। रजनीकांत ने कहा था कि वे पार्टी के बारे में औपचारिक घोषणा 31 दिसंबर को करेंगे। उनके कमल हासन की पार्टी मक्कल नीधि मैयम से गठबंधन की भी खबरें आ रही हैं। रजनीकांत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के काफी करीब हैं। इस करीबी का असर तमिलनाडु की राजनीति पर दिखाई दे सकता। 2019 के चुनाव में भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष ने यह तक कहा था कि रजनीकांत मोदी के नेतृत्व वाले गठबंधन का हिस्सा होंगे। रजनीकांत के ऐलान ने तामिलनाडु की राजनीति में हलचल मचा दी है।